दोस्तों आज की भागदौड़ और प्रदूषण से भरी जीवनशैली में त्वचा की तरह-तरह की समस्याएं हो रही हैं, जिसमे से एक है पिंपल्स/मुहांसे। पिंपल्स त्वचा (Skin) से संबंधित एक आम समस्या है, जो किसी भी उम्र के व्यक्ति को परेशान कर सकता है। यह महिलायों या पुरुषों में किसी को भी हो सकता है। जिन लोगों की त्वचा अधिक तैलीय(ऑयली) होती है, उन्हें यह समस्या अधिक होती है।किशोरावस्था से युवावस्था तक ये समस्या अधिक रहती है, क्योंकि इस दौर में मानसिक और शारीरिक दोनों तरह के बदलाव होते हैं।हार्मोन्स का बदलाव उम्र के इस दौर में अधिक होता है, इसलिए पिंपल्स और मुहांसे जैसी समस्या भी इसी दौर में अधिक होती है।आजकल के किशोर और युवक इससे निजात पाने के लिए हरेक नुस्खे या ट्रीटमेंट चाहते है कि, जल्द से जल्द इसका इलाज करके इससे छुटकारा पाया जाए। चुकि इसमें त्वचा पर लाल या काले रंग के दाने और चकत्ते हो जाते जो दर्द भी देते है। अगर इन्हें दबाया या फोड़ा जाए तो उसमे से जो पानी या पस निकलता है, उससे चेहरे पर दाग-धब्बे बन जाते है। जिन्हें हटाना और भी मुश्किल होता है, तो आइये पिंपल्स/मुहांसे के कारण, लक्षण, परहेज और घरेलू उपाय इसी विषय पर विस्तार से चर्चा करते है।
Contents-कंटेंट्स
- 1 पिंपल्स क्या है? (What is pimple in Hindi)
- 1.1 पिंपल्स/मुहांसे कितने प्रकार के होते हैं? (What are the types of Pimples/Acne in hindi)?
- 1.2 क्या आप जानते हैं कि पिंपल्स/मुहांसे होने के मुख्य कारण क्या है? (Do you know main reason for getting pimples in hindi)?
- 1.3 क्या आप जानते है कौन से छोटे-छोटे उपायों को करके हम पिंपल्स से होने वाले प्रभावों को कम कर सकते है? (Do you know that by taking small measures, we can reduce the effects of pimples in hindi)
- 1.4 क्या आप जानते हैं कि पिंपल्स के मुख्य लक्षण क्या-क्या है? (Do you know what are the main symptoms of pimples in hindi)?
- 1.5 पिंपल्स/मुहांसे के घरेलू उपाय Pimples Home Remedies in Hindi :-
- 1.5.1 1. एलोवेरा से पिंपल्स/मुहांसे का उपचार :-
- 1.5.2 2. अपराजिता के फूल से पिंपल्स/मुहांसे का उपचार :-
- 1.5.3 3. मुल्तानी मिट्टी से पिंपल्स/मुहांसे का उपचार :-
- 1.5.4 4. मसूर की दाल से पिंपल्स/मुहांसे का उपचार :-
- 1.5.5 5. नीम से पिंपल्स/मुहांसे का उपचार :-
- 1.5.6 6. तुलसी के पत्तों से पिंपल्स/मुहांसे का उपचार :-
- 1.5.7 7. पिंपल्स/मुहांसे का दही से उपचार :-
पिंपल्स क्या है? (What is pimple in Hindi)
पिंपल्स/मुहांसे कितने प्रकार के होते हैं? (What are the types of Pimples/Acne in hindi)?
दोस्तों, मुख्य रूप से पिंपल्स/मुहांसे तीन प्रकार के होते हैं।
1. कॉमेडोनिका (Comedonica Acne) :-
ये पिंपल्स किशोरो में होते हैं और इसे माइल्ड एक्ने यानि हल्के मुहांसे भी कह सकते हैं। इस श्रेणी में ब्लैक हेड्स और व्हाइट हेड्स को रख सकते है।
2. पुसटूल्स एक्ने (Pustules Acne) :-
इसे “मध्यम मुहांसे” या Moderate Acne भी कह सकते हैं। इस मुहांसे में पिंपल्स या दाने में थोड़े-थोड़े सूजन होते है और इनमे थोड़े-थोड़े पस भी हो जाते हैं।
3. नोड्यूल्स एक्ने (Nodules Acne) :-
ये भी पिंपल्स/मुहांसे का एक प्रकार है, जो काफी कष्टदायक होता है। इस स्थिति में गंभीर भी हो सकता है और एक्ने में सूजन हो जाती है। साथ ही साथ बहुत दर्द भी होता है।
क्या आप जानते हैं कि पिंपल्स/मुहांसे होने के मुख्य कारण क्या है? (Do you know main reason for getting pimples in hindi)?
जैसा कि आपने ऊपर में देखा कि पिंपल्स के होने में तैलीय ग्रंथियों की भूमिका मुख्य रूप से है। चिकित्सकों के अनुसार वसा ग्रंथियों (Sebaceous Gland) से निकलने वाले स्राव का रुकना भी पिंपल्स या मुहांसे के कारणों में से एक है। यह स्राव त्वचा को मुलायम और स्वस्थ रखने के लिए ही रोमछिद्रों से निकलता रहता है। जब यही स्राव रुक जाता है, तो फुंसी के रूप त्वचा के नीचे इकठ्ठा हो जाता है, और ज्यादा बढ़ने पर कठोर होकर मुहांसे के रूप में बदल जाता है, जो “Acne vulgaris” कहलाता है। इन्हीं मुहांसों में जब पस बन जाता है, तो इसे पिंपल्स कहते है, जो काफी दर्दपूर्ण होता है। लेकिन पस अगर निकल जाए तो ठीक भी हो जाता है और दर्द भी चला जाता है। लेकिन इन पसो को जबरदस्ती दबाना या फोड़ना नही चाहिए।
1. किशोरावस्था में बच्चे बाजार से बने क्रीम, लोशन, फेस वाश और फेस मास्क का बहुत जयादा उपयोग करने लगते है। वे अपनी त्वचा का पता भी नही करते कि उनकी त्वचा का प्रकार क्या है? जैसे: किसी की त्वचा तैलीय होती है तो किसी की सामान्य और किसी की त्वचा रुखी। ऐसे में अपनी त्वचा का बिना पता लगाए एक-दूसरे को देखकर कुछ भी उपयोग करना हानिकारक होता है, जिसके फलस्वरूप मुहांसे जैसी समस्या भी उतपन्न हो जाती है।
2. नींद का पूरा ना होना भी पाचनतंत्र की गड़बड़ी का कारण बनता है, जिसके फलस्वरूप मुहांसे निकलने लगते है।
3.
आजकल के खान-पान में फास्टफूड, जंकफूड, मैदायुक्त खाद्य पदार्थ, कोल्डड्रिंक और बाजार में बने हुए तली-भुनी चीजों के उपयोग से भी मुहांसे होते है।
4. प्रदूषण के कारण भी मुहांसे होते है। अगर प्रदूषण है तो, गाड़ी का धुँआ, जल प्रदूषण के कारण पानी का प्रदूषित होना, धूल मिट्टी का प्रदूषण ये सब भी हमारी त्वचा को प्रभावित करते है और परिणामस्वरूप पिंपल्स होते है।
5. 13 वर्ष से 30-35 वर्ष की उम्र पिंपल्स के लिए जयादा प्रभावी होते हैं। इस उम्र में हार्मोन परिवर्तन के कारण शरीर में तरह-तरह के बदलाव होते है, जिससे भी लड़के और लड़कियों में पिंपल्स की समस्या होती है।
6. किशोरावस्था से युवावस्था में बच्चों पर हार्मोनल बदलाव के साथ-साथ कैरियर की भी चिंता रहती है। ऐसे में बहुत अधिक तनाव भी पिंपल्स/मुहांसे के बढ़ने के कारणों में से एक है।
7. महिल्याओं में गर्भावस्था या मासिकधर्म के दौरान होने वाले हार्मोनस के बदलाव के कारण भी मुहांसे होते है।
क्या आप जानते है कौन से छोटे-छोटे उपायों को करके हम पिंपल्स से होने वाले प्रभावों को कम कर सकते है? (Do you know that by taking small measures, we can reduce the effects of pimples in hindi)
- सर्वप्रथम अगर मुहांसे हो रहे हों तो किसी चर्मरोग विशेषज्ञ या डॉक्टर्स से जरुर मिलें।
- ज्यादा तला-भुना, मिर्च मसालेयुक्त फास्टफूड और जंकफूड का सेवन ना करें या बहुत थोड़ी मात्रा में लें।
- ज्यादा मीठा और नमकीन भोजन ना करें और भरपूर मात्रा में पानी का सेवन करें। कोशिश करें कि कब्ज की शिकायत न हो और पेट पूरा साफ रहे।
- ज्यादा मेकअप युक्त चीजें ना लगाएं, ऑयल युक्त कॉस्मेटिक उत्पादों का प्रयोग कम से कम करें। चेहरे की सफाई जरुर करें। चेहरे की सफाई या तो घरेलू नुस्खो से बने उबटन या फिर चाहे तो नीम या एलोवेरा युक्त मेडिकेटेड साबुन का प्रयोग करें।
- पिंपल्स को दबाएँ नही, इसे दबाने, फोड़ने या रगड़ने से बचना चाहिए। नही तो ये और भी जगहों में फ़ैल सकता है।
- अगर मुहांसे बहुत ज्यादा हो तो कुछ दिनों तक बालों में तेल का प्रयोग ना करें और ना ही चेहरे पर तैलीय चीजों का प्रयोग करें। जितना हो सके तनाव मुक्त रहने का प्रयास करें। मेडिटेशन और प्राणायाम भी सहायक साबित होते है।
- होमियोपैथी या आयुर्वेदिक इलाज से इसे जल्दी ठीक किया जा सकता है।
क्या आप जानते हैं कि पिंपल्स के मुख्य लक्षण क्या-क्या है? (Do you know what are the main symptoms of pimples in hindi)?
दोस्तों, आज हम आपको बता रहे है कि क्या देखकर आपको समझ आएगा की ये मुहांसे/पिंपल्स के लक्षण हैं। मुहांसे में त्वचा पर छोटे-छोटे दाने या फिर बड़े आकार के दाने जिनमे मवाद भर जाता है, अगर दिखायी दे तो यह मुहांसे के लक्ष्ण है। धीरे-धीरे ये थक्के के रूप में बड़े होते जाते है और उनमे दर्द भी होता है। मुहांसे त्वचा के उन हिस्सों में ज्यादा होते है जहाँ तेल ग्रंथियां अधिक होती है। जैसे चेहरा, गर्दन, कन्धा, छाती और पीठ का ऊपर वाला हिस्सा।
पिंपल्स/मुहांसे के घरेलू उपाय Pimples Home Remedies in Hindi :-
1. एलोवेरा से पिंपल्स/मुहांसे का उपचार :-
एलोवेरा में एंटी-फंगल, एंटी-इंफ्लेमेटरी और एंटी-बैक्टीरियल प्रॉपर्टीज पायी जाती है, जिससे यह त्वचा के लिए बहुत लाभकारी होता है। मुहांसों के लिए एलोवेरा जेल में कुछ बूंदे नींबू की मिला लें और रोज रात को अपने चेहरे पर लगा लें। कुछ ही दिनों में आपको फर्क साफ दिखने लगेगा। मुहांसे खत्म हो जाएंगे और दाग-धब्बे भी दूर हो जाएंगे।
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2. अपराजिता के फूल से पिंपल्स/मुहांसे का उपचार :-
जैसा कि आप सबको पता ही होगा कि अपराजिता के नीले-नीले फूल देखने में अति सुंदर होते है और लाभकारी भी बहुत होते है। जो मुहांसों के उपचार में भी फायदेमंद है। सबसे पहले इसके फूलों को हरे डंडे से अलग कर लेंगे और नीले भाग को गर्म पानी में डाल देंगे। जब यह पूरी तरह गल जाए तो निचोड़ कर उसमें थोड़ा सा कॉर्नफ्लोर, एलोवेरा जेल और शहद मिक्स कर लेंगे। फिर इस पेस्ट को अपने चेहरे पर रोजाना रात को लगायें। ये पिंपल्स/मुहांसों के दाग-धब्बों को पूरी तरह से ठीक कर देता है।
3. मुल्तानी मिट्टी से पिंपल्स/मुहांसे का उपचार :-
मुल्तानी मिट्टी में नींबू एवं टमाटर का रस मिलाकर लगायें और सुखने के बाद हल्के हाथों से धो लें। आप चाहे तो मुल्तानी मिट्टी में चंदन पाउडर और गुलाब जल मिलाकर भी लगा सकते हैं। मुल्तानी मिट्टी चेहरे के लिए बहुत फायदेमंद होता है। ये पैक लगाने से त्वचा में कसाव उत्पन्न होगा जिससे रोमछिद्र कसाव में आकर सिकुड़ जाएंगे।
4. मसूर की दाल से पिंपल्स/मुहांसे का उपचार :-
मसूर की दाल को चाहें तो सूखा पाउडर बना लें या फिर थोड़ी देर तक साफ पानी में भिंगो दे और फिर पिस लें। इसके पाउडर में एक चुटकी हल्दी, नींबू रस की कुछ बूंदे और दही मिलाकर एक पैक तैयार कर लें। इसे अपने चेहरे पर तब तक लगा कर रखें, जब तक यह सुख न जाए। गर्म पानी से धोकर अपने चेहरे के बदलाव को महसूस करें। रोजाना करने से कुछ ही दिनों में आपकी त्वचा से मुहांसे ख़त्म होकर दाग-धब्बे भी दूर होने लगेंगे।
5. नीम से पिंपल्स/मुहांसे का उपचार :-
सबसे पहले नीम की पत्तियों को अच्छे से धोकर साफ कर लें। फिर उसको पीसकर पेस्ट तैयार कर लें और जहाँ-जहाँ मुहांसे हो वहाँ-वहाँ जरूर लगाना चाहिए। इसके प्रयोग से मुहांसे कुछ ही दिनों में जड़ से खत्म हो जाएंगे।
6. तुलसी के पत्तों से पिंपल्स/मुहांसे का उपचार :-
जैसा कि हम सब जानते है कि तुलसी ऐसे तत्वों से भरी हुई है, जिनसे हमे सिर्फ लाभ ही लाभ होते है। सबसे पहले तुलसी के पत्तों का पाउडर बना लें। फिर इसमें थोड़ी से मुल्तानी मिट्टी, थोड़ी सी हल्दी और नीम के पत्तों का पाउडर भी मिला लें। इस पेस्ट को अपने चेहरे और मुहांसों पर सप्ताह में दो बार लगायें। इसके प्रभाव से पिंपल्स/मुहांसे दूर हो जाएंगे और त्वचा साफ-सुथरी और कोमल हो जाएगी।
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7. पिंपल्स/मुहांसे का दही से उपचार :-
दही में बहुत से ऐसे गुण होते है जो हमारे शरीर के साथ साथ त्वचा के लिए भी लाभकारी होते है। सबसे पहले दही में गुलाब जल, शहद और हल्दी अच्छी तरह से मिक्स कर लें। फिर इसे अपने चेहरे और मुहांसे प्रभावित जगहों पर लगायें। ये पेस्ट मुहांसों को ठीक करने में काफी मददगार साबित होता है।
उपरोक्त लिखे हुए इस लेख में पिंपल्स/मुहांसे के कारण, लक्षण, परहेज और घरेलू उपाय के बारे में जो जानकारी दी गई है उसे अपने दैनिक जीवन में अपना कर देखें और अगर फायदेमंद हो तो कमेंट करें और अपने दोस्तों में शेयर जरुर करें।
डिस्क्लेमर :- आर्टिकल में सुझाए गए घरेलू उपाय के तरीके केवल सामान्य जानकारी प्रदान करते हैं| इन्हें आजमाने से पहले किसी विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें।
धन्यवाद
हेलो दोस्तों, मै नवेदिता कुमारी “अच्छी and healthy जानकारी” की author हूँ | मेरे इस ब्लॉग पर आपको heath, beauty, lifestyle, Devotional (धार्मिकता से जुड़े), curiosity से जुड़ी सभी जानकारी मिलेगी, जिसे आमतौर पर आप google में ढूढ़ते है |
अति उत्तम, ऐसे ही अच्छी-अच्छी जानकारी प्रदान करते रहिए
Nice 👍 जानकारी, आप पीपल्स मुंहासे को दूर करने के लिए धनिया भी लाभदायक होता है