क्या है टोमैटो फीवर ? लक्षण एवं उपाय |

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हैलो दोस्तों कैसे हैं आप सब| आज मैं फिर से एक नये टॉपिक पे बात करने आई हूँ| बच्चे हमारा जीवन है, बच्चों के बिना हमारा जीवन सूना होता है|” अगर हमारे हँसते-खेलते बच्चों को कोई भी परेशानी हो तो हमारे जीवन में इससे बुरा कुछ नही होता| कोई भी माँ-बाप ये नही चाहते हैं कि हमारा बच्चा बीमार हो जाए| हम सब केवल यही चाहते है की बच्चा स्वस्थ रहें एवं खुश रहें|

गर्मी के मौसम में तो ऐसे ही बच्चों को लू, बुखार, गर्मी के कारण होनेवाली फंगल संक्रमण, घमौरियां एवं घाव जैसी परेशानियाँ तो होती ही रहती है| ऐसे में इस बार “टोमैटो फीवर” ने देश के केरल राज्य में अपना आक्रमण कर दिया है| भारत के विभिन्न प्रदेशों में कभी-कभी अलग-अलग तरह के बुखार का प्रकोप होता ही रहता है| इस बार केरल में टोमैटो बुखार या टोमैटो फ्लू ने छोटे-छोटे बच्चों पर आक्रमण किया है|

टोमैटो फीवर एक अस्पष्टीकृत वायरस है, जो मुख्य रूप से भारतीय राज्य केरल के कोल्लम में पाया गया है| अभी तक ऐसा प्रतीत हो रहा है की यह सिर्फ छोटे बच्चों को ही संक्रमित कर रहा है| इस फ्लू को लेकर डॉक्टर्स की राय भी पूरी तरह साफ नही हो पा रही है| वे खुद ही असमंजस की स्थिति में हैं, कि ऐसा क्यों हो रहा है? कहीं यह डेंगू या चिकनगुनिया जैसे वायरल बुखारो का साइड इफ़ेक्ट तो नही है|

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टोमैटो फ्लू या बुखार अभी तक केरल में ही पाई गई है, परन्तु डॉक्टर्स और विशेषज्ञयों की राय है की अगर इसे रोकने और होने के कारणों का पता नही किया गया तो इसकी संक्रमणता और भी तेजी से फ़ैल सकती है| बीमारी को खतरनाक बनने से रोकने के लिए स्वास्थ्य विभाग जागरूकता अभियान चला रहा है| हालांकि, यह बीमारी मुख्य रूप केरल में फैली है | लेकिन देश का स्वास्थ्य मंत्रालय इसे लेकर चिंतित है|

सरकार द्वारा की गई पहल 

केरल से लगे हुए राज्यों में भी इसके फैलने का खतरा अधिक है| केरल के पड़ोसी राज्य तमिलनाडु के एक शहर कोयंबटूर में पड़ोसी राज्यों से आनेवालों की जाँच के लिए मेडिकल टीमों का गठन किया गया है| साथ ही जो लोग सीधे केरल वाया कोयंबटूर जा रहें है उनके लिए तमिलनाडु एवं केरल की सीमा पर वालयर में स्वास्थ परीक्षण की व्यवस्था की गई है| पुरे केरल राज्य में उपचार के लिए स्वयंसेवकों एवं विशेषज्ञयों की टीम बनाई गई है, जो प्रदेश की आंगनबारियों में जाकर पांच साल या इससे कम उम्र के बच्चों की जाँच कर रहें है|  

टोमैटो बुखार या फ्लू के लक्षण 

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टोमैटो फीवर

यह एक प्रकार का बुखार है, जो केरल राज्य में पांच साल या इससे कम उम्र के बच्चों में हो रहा है| इससे जो बच्चें संक्रमित हो रहें है उनके शरीर में लाल रंग के चकते और छाले हो रहे है| चूँकि इन चकतो का रंग लाल है इसलिए इसे टोमैटो फीवर कहा जा रहा है| लाल चकते और छाले तो इसके मुख्य लक्षण हैं, साथ ही साथ इसमे त्वचा में जलन एवं डिहाईड्रेशन भी हो जाता है| 

* अत्यंत तेज बुखार 

जोड़ों में दर्द के साथ सूजन

* अपच

* उलटी-दस्त

खांसी

* छीकना एवं नाक बहना

* हाथ और घुटनों का रंग बदलना

ये सारे लक्षण भी स्पष्ट या अस्पष्ट रूप में दिखाई देने लगते है| 

टोमैटो फीवर या फ्लू से बचाव के उपाय  

इस बीमारी का कोई विशेष इलाज अभी तक पता नही लग पाया है जिससे डॉक्टर्स का मानना है की जितना ज्यादा हो सके साफ-सफाई का ध्यान रखें| जो बच्चा इस फ्लू से संक्रमित हो गया है  उसे परिवार के सदस्यों से अलग रखा जाए, जिससे यह संक्रमण और नही फ़ैल सके| साफ कपड़े एवं साफ पानी के साथ कमरे को आइसोलेटेड रखना अति आवश्यक है| बच्चे खुजली करके अपने फफोलों यानि छालों को फोड़ देते है जिसे रोकने के लिए उन्हें साफ और मुलायम सूती कपड़ो का इस्तेमाल करना चाहिए| पर्याप्त मात्रा में पानी और हाईड्रेटेड रखनेवाले तरल पदार्थों का सेवन करना चाहिए| इन्हीं उपायों को करके हम इस संक्रमित बुखार से फ़िलहाल बच सकते हैं|    

तो दोस्तों आप सबको मेरे द्वारा दी गई जानकारी कैसे लगी | अगर जानकारी अच्छी लगे तो प्लीज शेयर और कमेंट जरुर करें | आप सब अगली पोस्ट किस टॉपिक पे चाहते हैं, कमेंट करें |

धन्यवाद |

 

 

 

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